निप्र, जावरा मध्यप्रदेश के रतलाम जिले के जावरा नगर पालिका परिषद के कुल 30 वार्डो में आम जनता का एक एक मत क्षेत्र के विकास के लिए महत्वपूर्ण है इसे ध्यान में रख निकाय, विधानसभा, और लोकसभा चुनावों में सभी वार्डों से सत्ता और विपक्ष के उम्मीदवारों को वोट कर मतगणना अनुसार क्षेत्रिय नेता चुन लिया जाता हैं लेकिन विकास की बात कहे तो उन्हीं मतों के मताधिकारियों को अपना अधिकार नहीं मिल पाता और वे समस्या होने पर राजनीतिक और प्रशासनिक गलियारों में ज्ञापन देते फिरते है, विगत कई वर्षों से जावरा को जिला बनाने की कवायद में भी कुछ ऐसा ही हो रहा हैं जिसने जनता के मताधिकार से अपनी मजबूती दिखाई वे अपने क्षेत्र को जिले की सौगात दिला रहे है ,वही जो क्षेत्र में सिर्फ पक्ष और विपक्ष करते रह गए वे अब भी सिर्फ काल्पनिकता के आधार पर आम जन की मंशा और आम जन के प्रयास को आगे करके जावरा जिला बनाने की रणनीति में लगे हैं, जबकि नागदा क्षेत्र में सांसद सत्ता दल का है और विधायक विपक्ष दल उसके बाद भी नागदा ज़िले की दौड़ में आगे हैं और जहा जावरा के सांसद और विधायक सत्ता दल के हैं वहां भाजपा के वरिष्ठ नेता होकर भी जावरा जिला बनाने में पीछे हैं, वैसे सत्ता विपक्ष की बात नहीं समय और तर्क जिसका मजबूत होता हैं कार्य वहीं सिद्ध करते हैं, जावरा नगर में अवैध कॉलोनी समस्या हो या मुख्य मार्ग के गड्ढे स्वय गवाह हैं की हम पिछड़े हुए नेताओं की सोच से ख़ुद को आम जन के लिए सुचारू नहीं कर पा रहे, जबकि नगर पालिका द्वारा जल, भूमि कर लेने के बाद भी आम समस्या विकराल हैं और ग्रामीण क्षेत्रों की बात कहें तो पूरे विधानसभा के कई गावों में पीने के पानी की कमी है और सड़कों, नालियों की समस्या सोच से परे हैं , बाकी जनता सब जानती हैं ज्ञापन ही एक मात्र आधार है।